नाभिकीय प्रदूषण निबंध, रेडियोधर्मी प्रदूषण कैसे होता है?,रेडियोधर्मी प्रदूषण के कारण क्या है|
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रूपरेखा
आज का लेख “रेडियोएक्टिव प्रदूषण पर निबन्ध | Nuclear pollution in Hindi |” इस निबंध को विस्तृत रूप से लिखा गया है यह निबंध विशेषत: UPSC, SSC, TET, CTET, BED आदि परीक्षाओं को को ध्यान में रखकर लिखा गया है | General knowledge (सामान्य ज्ञान )की अधिक से अधिक जानकारी के लिए एवं अच्छे प्रश्नों के लिए वेबसाइट hindigk guru पर विजिट करें |
रेडियोएक्टिव (नाभिकीय) प्रदूषण प्रस्तावना
आज के प्रतिस्पर्धी संसार में हर देश नंबर वन पर काबिज होना चाहता है | दुनिया के सभी देश सुपर पावर बनने के लिए नित्य नए-नए तरीके अपना रहे हैं सभी देश अपने यहां रक्षा तकनीकी स्वास्थ्य सेवा सैन्य शक्ति अंतरिक्ष अभियान आदि को बढ़ावा दे रहे हैं| सभी देश अनुसंधान वैज्ञानिक अविष्कार विज्ञान प्रौद्योगिकी के क्षेत्र में ज्यादा ज्यादा पैसा लगा रहे हैं क्योंकि किसी देश की अर्थव्यवस्था एवं उसकी भविष्य इसी बात पर टिका होता है |आज की मानव सभ्यता ने विज्ञान के क्षेत्र में काफी उन्नति कर ली है | विज्ञान के क्षेत्र में काफी उन्नति कर लिए है |
विज्ञान के क्षेत्र में ऐसी आविष्कार हो चुके हैं जो शायद कभी असंभव प्रतीत होते थे| प्रतिस्पर्धा के इस दौर में प्रत्येक देश अपने आप को शक्तिशाली दिखाने की होड़ में तरह-तरह की मिसाइल परमाणु बम का विकास कर चुके हैं| यह सब इतने खतरनाक है कि चंद मिनटों में धरती तथा मानव सभ्यता का विनाश कर सकते हैं |
विज्ञान के खतरनाक प्रयोगों के परिणाम स्वरूप जिस प्रकार का प्रदूण होता है उससे रेडियधर्मी प्रदूषण कहते हैं |
रेडियोएक्टिव (नाभिकीय) पदार्थ क्या है?
ऐसे पदार्थ जिन से रेडियोएक्टिव किरणें निकलती है उसे रेडियोएक्टिव पदार्थ कहते हैं | इसका खोज सर्वप्रथम हेनरी बिकुरल ने किया था, रेडियोएक्टिव पदार्थ की खोज मैडम क्यूरी ने किया था | रेडियोएक्टिव पदार्थ बहुत ही रेअर होते हैं आवर्त सारणी परमाणु क्रमांक 83 से ऊपर के सभी तत्व रेडियोधर्मी गुरु को प्रदर्शित करते हैं| इन पदार्थों का उपयोग बड़े-बड़े नाभिकीय घटनाओं में किया जाता है | नाभिकीय अभिक्रिया नाभिकीय विखंडन के अंत में यह पदार्थ अपने स्थाई रूप सीसा में विभक्त हो जाते हैं |
रेडियोएक्टिव पदार्थ प्राकृतिक एवं कृत्रिम दोनों प्रकार के होते हैं इन पदार्थों से निकलने वाले हानिकारक रेडियोएक्टिव किरणें मानव, जीव जंतु तथा पर्यावरण सभी के लिए अत्यंत खतरनाक है| इनका मानव जीवन पर बहुत गहरा प्रभाव पड़ता है| कुछ तरल पदार्थ, कचरे से रेडियो एक्टिव किरणें निकलती हैं यह हमारे वातावरण को प्रदूषित करती हैं | वातावरण में रहने तथा नग्न आंखों से ना दिखाई देने वाले प्रदूषण बहुत ही खतरनाक होते हैं | सभी प्रकार के प्रदूषण में यह प्रदूषण अत्यंत भयंकर और हानिकारक है इस प्रकार के प्रदूषण का असर मानव जीवन पर अत्याधिक होता है|
इन पदार्थ से मुख्य रूप से तीन प्रका की किरणें निकलती है- अल्फा बीटा और गामा |
रेडियोएक्टिव (नाभिकीय) प्रदूषण का कारण
1.परमाणु बम परीक्षण |
2.परमाणु हथियार परीक्षण पर परमाणु ईंधन आदि से फैलता है |
3.मानव निर्मित टेलीविजन, कंप्यूटर ,माइक्रोवेव, रफ्रिजरेटर आदि से भी हानिकारक रेडियोएक्टिव किरणें निकलती है |
4.नाभिकीय पदार्थ के खनन एवं प्रोसेसिंग से |
5. नाभिकीय पदार्थों के खनन एवं शुद्धिकरण के दौरान हानिकारक रेडियोएक्टिव किरणें निकलती है जो कि वातावरण को हानि पहुंचाती है |
रेडियोएक्टिव (नाभिकीय)प्रदूषण के दुष्प्रभाव
1.रेडियोएक्टिव पदार्थों से होने वाले दुष्प्रभाव परमाणु बम विस्फोट यह इतने खतरनाक होते हैं कि केवल कुछ मिनटों में ही सब कुछ तबाह कर सकते हैं | उदाहरण के लिए द्वितीय विश्व युद्ध के दौरान अमेरिका द्वारा जापान के हिरोशिमा एवं नागासाकी पर परमाणु हमला किया गया | जिससे वहां रह रहे लाखों लोग की मृत्यु हो गई | इन शहरों में सब कुछ बर्बाद हो गया इतना ही नहीं इसका असर इस प्रकार हुआ कि आज भी वहां जन्म लेने वाले बच्चे अपंगता के शिकार हैं |
2. परमाणु विस्फोट से वायु प्रदूषण ,जल प्रदूषण ,मृदा प्रदूषण होता है सीधे शब्दों में कहे तो यह संपूर्ण प्रकृति को क्षति पहुंचाते हैं |
इन किरणों के संपर्क में आने से कैंसर जैसी खतरनाक बीमारी होती है|
3.यह पेड़ पौधे एवं जीव जंतु को भी अत्यधिक हानि पहुंचाते हैं |
4.रडियोएक्टिव प्रदूषण के कारण गर्भस्थ शिशु क मृत्यु तक हो सकती है|
रेडियोएक्टिव (नाभिकीय)प्रदूषण से बचाव के उपाय
1.परमाणु रिएक्टर एवं प्रयोगशाला पर पूर्ण रोक
लगाकर |
2.परमाणु ऊर्जा संयंत्रों में सुरक्षा का समुचित व्यवस्था किया जाए |
3.रेडियोएक्टिव पदार्थों को नष्ट करने एवं भंडारण के लिए सुरक्षित स्थान बनाया जाए |
4.अंतरराष्ट्रीय कानून बनाया जाए रेडियोएक्टिव प्रदूषण से बचने के संबंध में |
रेडियोएक्टिव पदार्थों से लाभ
1.इन परमाणु ऊर्जा एवं रेडियोएक्टिव पदार्थों की केवल हानियां ही नहीं बल्कि कुछ अत्यंत महत्वपूर्ण लाभ भी हैं | यह रेडियो एक्टिव पदार्थ कृषि अनुसंधान एवं चिकित्सा के क्षेत्र में नई क्रांति लाएं जैसे एक्स मशीन ,कैंसर जैसे रोगों का इलाज आदि |
2. हमारे दैनिक उपयोग की वस्तुएं मोबाइल कंप्यूटर आती आज के समय में यह हमारे जीवन की क्या आवश्यकता है यह सब हम देख रहे हैं |
3.यह शक्ति ऊर्जा के उत्तम विकल्प है |
4.आज के समय में जब पेट्रोलियम एवं प्राकृतिक गैस ही सीमित मात्रा में हैं तब इसका उपयोग ऊर्जा के रूप में किया जा सकता है |
FAQs
Q1. रेडियोधर्मी तत्व किसे कहते है?
A. ऐसे पदार्थ जिन से रेडियोएक्टिव किरणें निकलती है उसे रेडियोएक्टिव पदार्थ कहते हैं|
Q2. रेडियोधर्मी प्रदूषण मापने की इकाई क्या है?
A. बेकुरल(si इकाई) या क्यूरी |
Q3. रेडियोधर्मी पदार्थ कौन कौन से होते हैं?
A. यूरेनियम, थोरियम, पोलोनियम, एक्टिमियम तथा रेडियम आदि |
Q4. रेडियोधर्मिता की खोज किसने की?
A. हेनरी बेकेरल |
Q5. रेडियम की खोज किसने और कब की थी?
A. मैडम क्यरी और उनके पति पियरे ने 1898 में |
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