मंकीपॉक्स

Monkeypox Virous | क्या है मंकीपॉक्स,कैसे फैलता है वायरस ,लक्षण, इलाज 2022

मंकीपॉक्स वायरस इन हिंदी,मंकीपॉक्स बीमारी, मंकी पॉक्स बीमारी के बारे में जानकारी,मंकीपॉक्स वायरस कैसे होता है,मंकी पॉक्स का इलाज,मंकीपॉक्स वायरस इन्फेक्शन,मंकीपॉक्स kaise failta hai, monkeypox वायरस लक्षण,Monkeypox treatment at home  monkeypox cases, how to prevent monkeypox

General knowledge (सामान्य ज्ञान )की अधिक से अधिक जानकारी के लिए एवं अच्छे प्रश्नों के लिए वेबसाइट hindigk guru पर विजिट करें |

मंकीपॉक्स वायरस इन्फेक्शन

पिछले कुछ समय से पूरी दुनिया कोरोनावायरस से ग्रसित रही न केवल भारत बल्कि दुनिया के सभी देश कोरोनावायरस से बुरी तरीके से प्रभावित हुए | कोरोनावायरस अत्यंत ही घातक था इसने  लोगों को जान मान की अत्यंत हानि पहुंचाई भारत जैसे देश में महामारी का क्या असर हो सकता है |  इसका परिणाम कितना भयानक होता है? यह हम सब ने देख लिया है अत्यंत प्रयासों के बाद भारत तथा दुनिया ने कोरोनावायरस पर विजय प्राप्त कर लिया परंतु महामारी का यह दौर खत्म होने का नाम नहीं ले रहा है |अब एक नया वायरस अपना पैर पसारना शुरू कर दिया है  मंकीपाक्स |

मंकीपॉक्स क्या है(Monkeypox news)

मंकीपॉक्स एक वायरल जूनोसिस है, अथार्त  जानवरों से मनुष्यों में फैलने वाला वायरस | इसके लक्षण देखने में चेचक के रोगियों जैसे होते हैं, अर्थात चेहरे तथा शरीर पर दानी जैसी उभार हो जाती है हालांकि यह  चेचक से कम गंभीर होता है |

मंकीपॉक्स कहा से आया?(Monkeypox transmission)

यह वायरस सर्वप्रथम 1958 ईस्वी में एक रिसर्च में बंदरों में पाया गया था |
इंसानों में मंकीपाक्स  सबसे पहले 1970 मेंरिपब्लिक ऑफ कांगो में एक 9 साल के लड़के में देखा गया था | वर्तमान समय की बात करें तो दुनिया  के कुल 80 देशों में इस वायरस  फैल रखा है जिसमें सर्वाधिक रूप से  प्रभावित देश ब्रिटेन, अमेरिका ,फ्रांस ,स्पेन, जर्मनी ,पुर्तगाल, कनाडा, नीदरलैंड ,बेल्जियम शामिल है | वर्तमान में मंकीपॉक्स से सर्वाधिक प्रभावित देश यूरोप है जहां लगभग 12हजार लोग मंकीपाक्स से ग्रसित हैं | पूरे दुनिया में अभी तक 21 हजार लोग इस वायरस से प्रभावित है यूरोपीय देशों में यह वायरस बहुत तेजी से फैल रहा है | मंकीपाक्स  के 70 परसेंट केस यूरोप से एवं 25 परसेंट केस अमेरिका से है|

भारत में मंकीपॉक्स (Monkeypox cases in India)

विश्व का दूसरा सर्वाधिक जनसंख्या वाला देश भारत की इस वायरस से अछूता नहीं है | हमारे देश में  मंकीपॉक्स अपना कदम बढ़ाना शुरू कर दिया है | भारत में मंकीपॉक्स  4  केस सामने आए हैं | भारत में कुल चार कंफर्म एवं चार संदिग्ध केस सामने आए हैं| जिसमें से 3 लोग केरल के हैं वही एक दिल्ली का है|
ताजा जानकारी के मुताबिक एक लोग जो केरल का था उसकी मौत हो चुकी है वह 22 वर्ष का था | वह हल नहीं विदेश यात्रा से वापस आया था 3 व्यक्ति जो केरल के थे | वह विदेश यात्रा से भारत लौटे थे जबकि दिल्ली के व्यक्ति का कोई ट्रबल हिस्ट्री नहीं था |

मंकीपॉक्स से कुल मौत (Is monkeypox dangerous)

जरूरी बात यह है कि क्या क्या मंकी पार्क कोरोनावायरस इतना खतरनाक है ? या नहीं मंकीपॉक्स से पूरी दुनिया में अभी तक 78 लोगों की मौत हुई है वही अपने देश भारत में एक मौत हुई है | डब्ल्यूएचओ के मुताबिक इस वायरस से मृत्यु दर  3-6 फीसदी के बीच है। जबकि अधिकतम मृत्यु दर एक से 11 फीसदी के बीच है।
डब्ल्यूएचओ की तरफ से मंकीपॉक्स को ग्लोबल हेल्थ इमरजेंसी घोषित कर दिया गया है |

मंकीपॉक्स के लक्षण(Monkeypox symptoms)

इस वायरस के शुरुआती लक्षण जो अभी तक देखे गए हैं वह कुछ इस प्रकार हैं| शुरुआती दौर में चेहरों पर दाने हो जाते हैं जो कि 14 से 21 दिनों तक रखते हैं | इसके अलावा
1.सर दर्द , बुखार|
2.मांसपेशियों में दर्द, थकावट|
3.आंखों में दर्द दिया धुंधली दृष्टि |
4.सांस लेने में कठिनाई |
5.सीने में दर्द |
6.बार-बार बेहोश होना डोरे पढ़ना |
7.पेसाब में कमी |
8.शरीर पर चकत्ते गले में खराश खांसीलिम्फ  नोड्स में सूजन आदि देखने को मिलता है |
9.इसके साथ ही रोगी के शरीर पर घाव के निशान देखे जा सकते हैं, जो कि बुखार की शुरुआत के 1 से तीन दिन के भीतर देखे जाते हैं और दो से चार सप्ताह तक चलते हैं |
10. इनमें दर्द और खुजली भी होता है, यह हथेलियों और तलवों में ज्यादा देखा जा सकता है|

मंकीपॉक्स कैसे फैलता है( Monkeypox spread)

मंकीपाक्स वायरस त्वचा, आंख, नाक या मुंह के माध्यम से शरीर में प्रवेश करता है |
मंकीपॉक्स मुख्य रूप से मनुष्य से मनुष्य में फैलता है जैसे-
मंकीपॉक्स से संक्रमित व्यक्ति के संपर्क में आने से
प्रत्यक्ष – शारीरिक संपर्क शरीर से निकलने वाले तरल पदार्थ, यौनसंपर्क या घाव के संपर्क में आने से
अप्रत्यक्ष संपर्क- दूषित कपड़े या संक्रमित व्यक्ति के  लिनेन के माध्यम से |
अधिक समय तक संपर्क में आने से सांसों की बदबू से |
संक्रमित जानवरों के काटने या उनके निकट संपर्क में आने से यह वायरस फैल सकता है |
यदि कोई व्यक्ति पिछले 21 दिनों में किसी ऐसे व्यक्ति के संपर्क में आया है जो मंकीपॉक्स  से ग्रसित था एवं उपरोक्त लक्षण उसमें दिखाई दे रहे हैं उसे तुरंत डॉक्टर से परामर्श लेना चाहिए |

मंकीपाक्स से बचाव के उपाय(Monkeypox treatment)

1.संक्रमित व्यक्ति को 21 दिनों तक आइसोलेशन में रहना चाहिए |
2.मंकीपॉक्स स्किन टू स्किन संपर्क में आने से खेल रहा है अतः लोगों से सुरक्षित दूरी बनाए रखें |
3.चेचक का टीका पचासी परसेंट तक प्रभावित साबित हुआ है |
4.स्वच्छता का विशेष ध्यान रखें |
5.भी तक इसकी वैक्सीन नहीं बना है

मंकीपाक्स वायरस पर स्वास्थ्य मंत्रालय की जानकारी

मंकीपॉक्स वायरस की गंभीरता को देखते हुए स्वास्थ्य मंत्रालय ने इस वायरस पर गाइडलाइन जारी कर दिए हैं जो कि इस प्रकार हैं-

1.मंकीपॉक्स रोगियों को 21 दिनों तक क्वारंटाइन रहना होगा |

2.चेहरे पर मास्क पहनना होगा ट्रिपल लेयर का होना चाहिए |

3.अपने हाथों को धोते रहें |

4.अपने घाव को ढक कर रखें पूरी तरह से ठीक होने तक अस्पताल में ही रहे|

5.अस्पताल के वार्ड में भर्ती संक्रमित रोगी या फिर संदिग्ध रोगी की किसी भी दूसरी चीज के संपर्क में आने आने वाले स्वास्थ्य कर्मियों को तब तक ड्यूटी से बाहर नहीं करना है |जब तक कि उन्हें कोई लक्षण विकसित ना हो प्लान की ऐसी स्वास्थ्य कर्मियों की 21 दिनों तक निगरानी रखना आवश्यक है |

6. मंकीपॉक्स मरीज के संपर्क में आने उससे शारीरिक संपर्क बनाने या फिर उसके आसपास दूषित चीजों जैसे कपड़े बिस्तर आदि के संपर्क में आने पर संक्रमण फैल सकता है, इससे बचना बहुत जरूरी है |

यदि आपके घर में किसी व्यक्ति को मंकीपॉक्स  हो जाए तो क्या करें

1.संक्रमित व्यक्ति को आइसोलेट करें एवं मरीज से दूरी बनाए रखें |

2.संक्रमित व्यक्ति के नाथ एवं मुंह को मात्र से ढक कर रखना चाहिए एवं त्वचा के घाव को चादर से ढक कर रखना चाहिए |

3.जॉर्ज की पुष्टि के लिए तुरंत स्वास्थ्य सुविधा को सूचित करें |

4.संक्रमित व्यक्ति द्वारा प्रयोग किए गए चादर डोलिया कपड़ों के संपर्क में आने से बचें |

5.सैनिटाइजर से हाथों को साफ करें |

मंकीपॉक्स पर भारत सरकार की तैयारी

कोरोना महामारी से सबक लेते हुए भारत सरकार राज्य सरकार के साथ मिलकर अपनी तैयारियों को पुख्ता कर रही है | जिससे कि भविष्य में यदि इस वायरस के खतरनाक रूप सामने आए या फिर या तेजी से संक्रमण हो इसका भयावह रूप सामने ना आए एवं इससे बचाव किया जा सके|

जैसा कि किसी भी वायरस से बचाव के लिए वैक्सीन ही कारगर होता है अतः मंकीपॉक्स का वैक्सीन बनाने के लिए भारत सरकार अभी से तैयारियां करना शुरू कर दिया है|

मंकीपॉक्स वैक्सीन (Monkeypox vaccine)

सरकार द्वारा वैक्सीन बनाने वाली कंपनियों के लिए टेंडर पास कर दिया गया है सरकार ने 10 अगस्त तक टेंडर मांगा है |
वही सरकार द्वारा कंपनियों से कहा गया है कि वह सर्वप्रथम ऐसी कीट बनाएं जिससे कि मंकीपॉक्स वायरस का जांच किया जा सके |  जिस प्रकार से घर बैठे  हम लोग पता कर लेते थे किसी व्यक्ति को कोरोना है या नहीं , जैसे कोविड किड्स हुआ करता था |
सर्वप्रथम मंकीपॉक्स टेस्टिंग किट बनाई जाए उसके बाद दवाई बनाई जाए जिससे कि भविष्य में किसी भी प्रकार की समस्या का सामना ना करना पड़े |

आईसीएमआर  ने कहा है कि पहली बार भारत में हमारे द्वारा मंकीपॉक्स वायरस को आइसोलेट करके देख लिया गया है | हमने इसका वायरस भी अलग करके देख लिया है यदि किसी व्यक्ति निर्माता कंपनी को वायरस ले जाना है तो वह हमसे ले सकता है | वह जल्द से जल्द इसकी इंडिजिनियस वैक्सीन और डायग्नोसि्टक कीट बनाकर प्रकट करें जिससे कि इसे जल्द से जल्द मरीजों तक पहुंचाया जा सके |
आपको बताते चलें कि जो वैक्सीन होता है उसमें निर्जीव वायरस ही होता है जो कि हमारे शरीर में जाकर एंटीबॉडी बनाता है |

उम्मीद है कि जल्द से जल्द मंकीपॉक्स वायरस कि वैक्सिंग बनकर तैयार हो जाएगा |

Read More

Yoga in Hindi | योग का अर्थ, प्रकार, और फायदे










 

Leave a Comment

Your email address will not be published.

Pinterest
Instagram
Telegram
Bharat darshika